भोपाल करोंद स्थित विधवा कॉलोनी में एक युवक ने गुरुवार दोपहर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। युवक ने ये कदम आर्थिक तंगी के कारण उठाया है। युवक सब्जी का ठेला लगाता था। लॉकडाउन के चलते उसका कामकाज बंद हो गया था। उसकी दो छोटी-छोटी बेटियां है। उसने कुछ लोगों से कर्ज भी ले रखा था। पुलिस को घर के अंदर से कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है। ये भी पता चला है कि सरकार द्वारा जरुरतमंद लोगों की मदद किए जाने का दावा किया जा रहा है वो उसके पास तक नहीं पहंची। करोंद स्थित गैस राहत की विधवा कॉलोनी में रहने वाला अनिल अहिरवार सब्जी का ठेला लगाता था। उसकी दो छोटीछोटी बेटी काव्या और साक्षी हैं। पत्नी नमिता ने घर की खराब हालत और खाने तक का सामान नहीं होने की बात बच्चियों को लेकर थोड़ी देर के लिए बाहर गई। अनिल ने पड़ोसियों को बताई थी। अनिल को उम्मीद थी कि 14 सीलिंग फैन से फंदा लगा लिया। कुछ ही देर में वो लौटकर अप्रैल को लॉकडाउन खत्म हो जाएगा तो उसका आई तो अनिल को फंदे से लटका देखा। उसने पड़ासियों कामकाज फिर से शुरू हो जाएगा। लेकिन, लॉकडाउन के को आवाज लगाई। पड़ोसियों ने अनिल को फंदे से बढ़ने से उसकी उम्मीद पर पानी फिर गया। मंगलवार शाम उतारकर उसकी सांस फिर से लाने के प्रयास में छाती को से उसने घर में किसी से बात नहीं की। बुधवार को भी कई बार पंप किया। लेकिन इसका कोई असर नहीं हुआ। अनिल दिनभर गुमसुम रहा। गुरुवार को जैसे ही पत्नी पुलिस ने शव को पीएम के लिए भेज दिया है।
राजधानी में आर्थिक तंगी से परेशान युवक ने लगाई फांसी